छत्तीसगढ़ के बीजापुर क्षेत्र मे इन्द्रावती टायगर रिजर्व में घायल बाघ का सफल रेस्क्यू, उपचार के लिए नवा रायपुर भेजा गया।
कुमारी गीता बघेल समाज सेविका की रिपोर्ट।
रायपुर छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिला क्षेत्र के इन्द्रावती टायगर रिजर्व के अंतर्गत बीजापुर वन
परिक्षेत्र के बफर जोन कक्ष क्रमांक 135 में एक नर बाघ घायल अवस्था में पाया गया।
ग्रामीणों की सूचना पर वन विभाग की टीम हरकत में आई और 16 अप्रैल को एक संयुक्त
रेस्क्यू ऑपरेशन के तहत बाघ को सुरक्षित तरीके से रेस्क्यू किया गया।
प्राप्त जानकारी के अनुसार बाघ के पिछले दोनों पैर किसी तार में फंस जाने के कारण घायल हो गए थे।
जिससे वह लंगड़ाते हुए दिखाई दिया।
मौके पर पहुंची पशु चिकित्सा टीम ने प्राथमिक उपचार के बाद घायल बाघ को आगे की
देखभाल एवं उपचार के लिए जंगल सफारी,नवा रायपुर भेज दिया है।
रेस्क्यू ऑपरेशन में नोवा नेचर वेलफेयर सोसायटी के पशु
चिकित्सक, इन्द्रावती टायगर रिजर्व,बीजापुर के संजय रौतिया (सहायक संचालक), मनोज
बघेल (अधीक्षक), सुखदास नाग (अधीक्षक, पामेड़ अभ्यारण्य),
मोहन सिंह नायक (अधीक्षक, भैरमगढ़ अभ्यारण्य) एवं अन्य वन अमले ने हिस्सा लिया।
सीसीएफ बस्तर आर.सी. दुग्गा ने बताया कि बाघ के घायल होने
की वजह उसके पैरों में तार फंसना था।
इस कृत्य को वन्य जीव (संरक्षण) अधिनियम, 1972 के
तहत गंभीर वन अपराध मानते मामला दर्ज किया गया है।
वन मंत्री केदार कश्यप के मार्गदर्शन में और प्रधान मुख्य वन संरक्षक सुधीर अग्रवाल के
निर्देश पर इस कार्यवाही को अंजाम दिया गया।
फिलहाल घटना स्थल के आसपास सघन जांच की जा रही
है और दोषियों की पहचान के लिए प्रयास तेज कर दिए गए हैं।
वन विभाग ने यह भी स्पष्ट किया है कि आरोपियों की पहचान होने
पर उनके खिलाफ सख्त कानूनी कार्यवाही की जाएगी।
इस घटना ने एक बार फिर से वन्यजीव सुरक्षा की चुनौतियों को उजागर किया है।
साथ ही वन विभाग की तत्परता और सहयोग की सराहना भी प्राप्त हो रही है।